रविवार, ७ ऑगस्ट, २०२२

कृषी विधेयक / Minimum Suport Price ( MSP ) / तीन बिल / किसान आंदोलन

कृषी विधेयक

     कृषी विधेयक पास होणे से मिनिमम सपोर्ट प्राइस Minimum Suport Price (MSP) रद्द हो सकता है!

Minimum Suport Price ( MSP ) :- बाजार मे फसल की किमतो पर चढ उतार रहता है, उनपर नियंत्रण MSP रखता हैं ! जैसे की , बाजार मे फसलो की किंमत गीरणे से अनाज की किंमत गिरणे से बिमा पॉलिसी जैसे काम कर सकती हैं !

MSP की जरुरत क्यू हैं :- किसन की फसल की जरुरत अच्छी नही मील पाती थी तो किसान ने आंदोलन किया . १९६४ मे फूड ग्रेन्स प्राईज कमेटी बनाई गयी थी जिसका नेतृत्व एल.के. झा ने किया 

* १९६५ मे भारतीय खाद्य निगम ( FCI ) की स्थापना L.K. झा कमेटी के सुझाव पर हुयी ओर अग्रिकल्चर प्राईजेस कमिशन (APC) बना

* FCI वह एजन्सी हैं जो MSP पर अनाज खरीदती हैं ! उसे अपने गोदामो मे स्टोअर करती हैं

* पब्लिक डीस्ट्रीब्युशन सिस्टम (PDS) के जरिये जनता तक कम किमतोपर पहुचाती हैं !

* APC का नाम १९८५ मे बदलकर CAPC किया गया 

सहकारी संघवाद को बढावा , promotion of cooperative federalism

     कृषी और बाजार राज्य सूची मे हैं सूची १४ ओर सूची २८ मे दर्ज हैं

     केंद्र सरकार ने तर्क किया की खाद्य पदार्थ मे व्यापार ओर वाणिज्य समवर्ती सूची का हिस्सा हैं !

     कृषी मंत्री नरेंद्र तोमर ने साफ काहा की नये कानुन से किसानो को खुले बाजार मे अपनी फसल बेचने का विकल्प मीलेगा ! इससे प्रतिस्पर्धी बढेगी ओर किसनो की उपज की बेहत्तर किंमत मिलेगी 

     तोमर ने यह भी काहा हैं की मंडी के बाहर जो ट्रेड होगा ऊस पर कोई टॅक्स नहीं देना होगा!

किसान :-  सरकार मंडियो से बाहर व्यापार छुट दे रही है तो इससे कीसानो को कोई फायदा नहीं होगा बल्की बडे व्यापारियो को फायदा होगा . क्यो की वे लोग बिना टॅक्स चुकाये बाहर से खरिद कर सकेंगे ! इससे एक तरफ किसानो को न्यूनतम समर्थन मूल्य ( MSP ) मिलना बंद हो जायेगा दुसरी तरफ मंडिया ठप्प पडणे लगेगी !

किसान का मानना हैं की उनका अर्थियास पर पुरा भरोसा हैं ! कमिशन एजेंट को राज्य सरकार द्वारा लाईसन्स मिलता हैं ! सरकार उणपर भरोसा करती हैं! तो हम भी उनपर भरोसा कर पाते हैं ! लायसेन्स देणे से पहले सरकार उन कमिशन एजेंट की पुरी जाणकारी इकट्टा कर जांच पडताल के बाद ही लायसेन्स देती हैं लेकीन अब जो नया रूल आया है उसके चलते कमिशन एजेंट के अलावा ये सभी लोग भी काम कर सकेंगे जिनके पास प्रोपर लायसेन्स भी नहीं होगा . ऐसे मे आगे चलकर इन किसानो को फ्रोड लोगो का सामना करना पडेगा.

     संकलन :-  नामवंत पवन प्रभे ८०१०८४४८४३

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